श्रीमती भवरी देवी का संथारा सातवें दिन गतिमान

*अनवरत नवकार मंत्र जाप किया जा रहा है समाजबंधुओ एवं परिजनों द्वारा*

पाली। मृत्यु को महोत्सव बनाने की ओर अग्रसर पाली शहर की तिलक नगर निवासी धर्मनिष्ठ सुश्राविका श्रीमती भंवरी देवी धर्मपत्नी श्रीमान चंद्रकांतजी (बाबूलाल जी) राठौड़ जैन पुत्री स्व श्री घीसी बाई धर्मपत्नी स्वर्गीय श्री भैरू लाल जी तलेसरासंथारा साधिका का सातवें दिन तिविहार संथारा गतिमान हैं। आप श्री के दृढ़ संकल्प असीम आत्म बल तथा भगवान महावीर के उपदेश अनुसार जन्म को मृत्यु को महोत्सव के रूप में जीवन के सभी कषायो से मुक्त होकर आपकी आत्मा मोक्ष को प्राप्त हो यही मंगल कामना है ।तेरापंथ संघ के सुमति मुनि जी म सा ने मंगल पाठ सुनाया ।

पुत्र कमलेश ,धनेश राठोड़ ने बताया कि संपूर्ण जैन समाज की सर्वोच्च संस्था श्री संघ सभा के अध्यक्ष रमेश मरलेचा मंत्री उत्तमचंद मुथा आनंद राज गांधी सज्जन राज गुलेच्छा विनय भंसाली छगन सालेचा दिलीप मेहता तथा सभी समाज की कार्यकारिणी के सदस्यो ने नवकार मंत्र जाप कर संपूर्ण जैन समाज की ओर से क्षमा याचना की । और आप आपकी आत्मा को मोक्ष प्राप्त हो ।आपका जीवन हमारे लिए प्रेरणा स्त्रोत व मार्गदर्शन बना रहे हैं यही मंगल कामना ।माताजी के दर्शन व निरंतर नवकार मंत्र जाप व प्रभु भक्ति परिजनों एवं समाजबन्धुओ द्वारा अनवरत जारी है ओर लोगो द्वारा प्रत्याख्यान भी लिए जा रहे है।

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