साण्डेराव में टोल कर्मियों की मनमानी स्थानीय वाहन चालकों के साथ बदसलूकी कर वसूलते टोल,,सवाल जवाब करने पर वाहन चालको के साथ करते हैं मारपीट,

अरूण बैरवा सुमेरपुर 9461830820

साण्डेराव में टोल कर्मियों की मनमानी स्थानीय वाहन चालकों के साथ बदसलूकी कर वसूलते टोल,,सवाल जवाब करने पर वाहन चालको के साथ करते हैं मारपीट,टोल कर्मचारी की सूचना पर तुरंत पहुंचती है पुलिस,जबकि आमजन के फोन कों किया जाता है नंजर अंदाज, ???

*साण्डेराव:-* साणडेराव पुलिस थाना क्षेत्र में तीनों और तीन टोल बने हुए है,दो स्टेट हाईवे तो एक नेशनल हाईवे पर टोल बना हुआ है।साणडेराव से तखतगढ़ की और जाने वाले स्टेट हाईवे पर दुजाना व बलाना के बीच में टोल बना हुआ है तो वहीं सांडेराव से फालना की और जाने स्टेट हाईवे पर निम्बेश्वर महादेव मंदिर व सांडेराव के बीच स्टेट हाईवे का टोल है तो दूसरी और पाली की ओर जाने वाले नेशनल हाईवे 62 पर बिरामी के पास टोल बना हुआ है।इन सभी टोल से गुजरना यहां के 

ग्रामीणों की समस्या दिनों दिन बढ़ती जा रही है,यहां से अगर वह तखतगढ़ की ओर जाते हैं तो दुजाना टोल पर उनको टोल टैक्स देना पड़ता है अगर निम्बेश्वर महादेव मंदिर में दर्शन करने के लिए भी अगर जाना है तो तो टोल देना पड़ता है अगर साणडेराव से पाली की और जाना है तो बिरामी टोल पर टोल टैक्स देना पड़ता है।

*निंबेश्वर टोल फालना -* साण्डेराव- फालना सड़क मार्ग पर बने टोल को शुरू हुए करीब 7-8 वर्ष हों चुके हैं,इस टोल पर तय हुआ था कि 10 किलोमीटर दायरे में आने वाले गांवो के ग्रामीणों को टोल फ्री कर दिया जाएगा मगर अभी तक फ्री सेवा नहीं मिलने से रोजाना वाहन चालकों व टोल कर्मचारियों के बीच नोंक-झोंक हों रहीं हैं।जब स्थानीय लोकल कहकर वाहन निकालने के लिए कहते हैं तो अनेक प्रकार की आईडी अलग-अलग मांगते हैं तथा एक आईडी भी नहीं होने पर उनसे टोल टैक्स वसूल करते हैं तथा नहीं देने पर मारपीट करने पर उतारू हो जाते हैं व गुंडागर्दी करते हैं। यहां टोल कर्मचारी टोल पर प्रॉपर उनकी यूनिफॉर्म में नहीं रहते हैं मनमाने ढंग से टोल पर बैठकर गुंडागर्दी करते हैं तथा लोगों के साथ में बदतमीजी व मारपीट भी करते हैं लेकिन सबसे बड़ी बात तो यह कि अगर टोल पर कोई घटना होती है अगर आमजन कोई पुलिस को फोन करें तो पुलिस करीब आधे घंटे के बाद मौके पर पहुंचती हैं कभी-कभी तो पहुंचती भी नहीं है लेकिन जब अगर टोल कर्मी फोन कर दे तो पुलिस तुरंत 5 मिनट के अंदर मौके पर पहुंच जाती हैं।

तो दूसरी और बिरामी टोल प्लाजा पर स्थानीय लोगों के लोकल पास बने हुए हैं जो उनको पैसे लेकर रेन्यूवल करते हैं जबकि 20 किलोमीटर की परिधि में वाहनों को टोल देने की आवश्यकता नहीं है फिर भी बिरामी टोल प्लाजा पर वाहनों के रूपये लेकर पास नहीं बनाये जा रहे हैं सरकार द्वारा 20 किलोमीटर की परिधि में वाहनों को टोल टैक्स मुक्त किया हुआ है लेकिन उसके बाद में भी पास के नाम पर बिरामी टोल प्लाजा पर रुपए लेकर पास बनाए जा रहे हैं‌ टोल टैक्स के कर्मियों द्वारा स्थानीय चालको से भारी टोल टैक्स वसूल किया जाता है जिसके कारण जो गाड़ी चला कर अपना गुजारा करता है कमाना मुश्किल हो गया है, तो दूसरी और बिरामी टोल प्लाजा एवं सांडेराव के निंबेश्वर टोल प्लाजा तथा दुजाना टोल प्लाजा पर प्रभावशाली नेताओं एवं अन्य सरकारी अधिकारी व पुलिस प्रशासन के उनके निजी वाहन उनके नाम से निकले जा रहे हैं,इसका मतलब कानून केवल गरीबों पर ही लागू होता है।

तीनों टोल नाकों पर अभी तक कोई स्पष्ट गाइडलाइन बनाई हुई है और नहीं इसके संबंधी लोगों को जानकारी साझा करते हैं। जब लोगों द्वारा पूछा जाता है कि टोल प्लाजा के कितना किलोमीटर तक वाहनों को टोल टैक्स से मुक्त किया हुआ है तो उसे दरमियां टोल कर्मियों द्वारा उत्तेजित होकर के मारपीट पर उतर आते हैं तथा वाहन चालकों से झगड़ा करते हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *